आजमगढ़। कोरोना वायरस वैसे तो फैला चाइना से है लेकिन आज इसने पूरी दुनिया को अपने कब्जे में ले लिया है। वहीं हम अपनी मूर्खता से इसे अपने देश में भी तबाही मचाने का आमंत्रण दे रहे हैं। अगर समय रहते नहीं हम नहीं चेते तो हो सकता है कि इसके पीड़ितों को इलाज के लिए भर्ती करने में अस्पतालों में बेड भी कम पड़ जाए। अभी तक इससे बचाने वाली दवा का इजाद नहीं हो सका है सिर्फ सोशल डिस्टेंसिंग ही इस बिमारी के प्रसार को रोक सकती है।
पूरे विश्व में कोरोना से हजारो की संख्या में लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। आज चीन से ज्यादा इटली और स्पेन में मौतें हो चुकी हैं। इन देशों ने कोरोना के खतरे को हल्के में लिया जिसका खामियाजा आज यह लोग भुगत रहे हैं। कहीं वही गलती तो हम भी नहीं कर रहे हैं। इस बात को सभी के सोचने की जरूरत है। क्योंकि अभी तक इस रोग के इलाज का कोई कारगर तरीका विकसित नहीं हो सका है।
सिर्फ सोशल डिस्टेंसिंग के जरिए ही इससे बचा जा सकता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने समय रहते इस पर लगाम लगाने के लिए पूरे देश में लाक डाउन घोषित कर दिया ताकि लोग घरों में रहें और सोशल डिस्टेंसिंग के नियम का पालन करें। जिससे इस वायरस को फैलने से रोका जा सके। लेकिन लोक डाउन है तो हमें क्या हम तो घरों में बैठे बोर हो रहे हैं इसलिए हमें सड़कों पर घूमकर अपना मनोरंजन करना है और हम करेंगे।
हमें कोई नहीं रोक सकता है। इस मानसिकता से हम शासन और प्रशासन की मंशा पर पानी फेर रहे हैं। इतना ही नहीं हम उन कर्मवीरों का भी अपमान कर रहे हैं जो हमारी सुरक्षा के लिए 24 घंटे सड़कों और अस्पतालों में अपना समय व्यतीत कर रहे हैं। चाहे वह पुलिस के लोग हों या अस्पतालों के चिकित्सक हों या सफाई कर्मी हर कोई हमारी सुरक्षा के लिए अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन कर रहा है। तो हमारा भी फर्ज है कि हम इनकी मेहनत को जाया न जाने दें और अपने देश के साथ जनपद को भी कोरोना से मुक्त रखने के लिए शासन और प्रशासन के निर्देशों के अनुसार सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करें।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें